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तहरीक दावते इस्लामी हिन्द के द्वारा ,सिखाया गया हज अदा करने का तरीका





गोरखपुर, उत्तर प्रदेश। 


जिले के हज यात्रियों को इमामबाड़ा इस्टेट मस्जिद मियां बाज़ार में तहरीक दावते इस्लामी हिन्द की ओर से पहले चरण की हज ट्रेनिंग दी गई। हज के अहम अरकान व फजीलत पर रोशनी डाली गई। ट्रेनिंग 29 मई, 2 व 5 जून को भी सुबह 10 से दोपहर 1 बजे तक दी जाएगी। अगले चरण में एहराम के अहकाम‌ व प्रैक्टिकल तरीका, हज और उमराह की फजीलत, उमराह का तरीका, तवाफ का प्रैक्टिकल तरीका, सफा व मरवा पर चक्कर का तरीका, हलक और तकसीर के मसाइल, हज के पांच दिन, अरफा, मुजदलफा, मिना के वकूफ, मदीना मुनव्वरा की बाअदब हाजिरी के बारे में विस्तार से बताया जाएगा। 


हज ट्रेनर हाजी मो. आज़म अत्तारी ने कहा कि हज बेहद अहम इबादत है। इसमें सबसे अहम खुलूस है। दिखावे का नाम हज नहीं है। हज अल्लाह की रज़ा के लिए है। पैगंबर-ए-आज़म हज़रत मोहम्मद सल्लल्लाहु अलैहि वसल्लम ने फरमाया कि मकबूल हज करने वाला ऐसा होता है मानो आज ही मां के पेट से पैदा हुआ हो। उसके सभी गुनाह माफ हो जाते हैं। उन्होंने  हज पर ले जाने वाले सामानों की लिस्ट व तैयारी, तलबिया यानी 'लब्बैक अल्लाहुम्मा लब्बैक' का अभ्यास कराया। सफर की सुन्नत, आदाब व दुआओं के बारे में भी बताया। 


ट्रेनिंग की शुरुआत तिलावत-ए-कुरआन शरीफ़ से शहजाद अत्तारी ने की। नात शरीफ असलम अत्तारी ने पेश की। अंत मेे सलातो-सलाम पढ़कर नेक व एक बनने की दुआ की गई। महिलाओं के लिए पर्दे का खास इंतजाम रहा।


ट्रेनिंग में मोहम्मद फरहान अत्तारी, वसीउल्लाह अत्तारी, मोहम्मद खुर्शीद, मोहम्मद शम्स, सलीम अत्तारी, मोहम्मद सारिक, रजाउल मुस्तफा अत्तारी मुख्तार अहमद कुरैशी, जुबैदा खातून, नूरून निशा सहित महिला व पुरुष हज यात्रियों ने शिरकत की।


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