धराधाम इंटरनेशनल परिवार एवम एवम लोगो मे हर्ष व्याप्त। सामाजिक सौहार्द के अप्रतिम उदाहरण है डॉ सौरभ।
गोरखपुर, उत्तर प्रदेश।
धराधाम इंटरनेशनल के चेयरपर्सन सौहार्दशिरोमणि डॉ सौरभ पाण्डेय को क्रोशिया देश से उनके सामाजिक एवम विश्वशांति के लिए शानदार प्रयास के लिए अम्बेसडर ऑफ पीस उपाधि से सम्मानित किया है जिससे धराधाम इंटरनेशनल परिवार एवम लोगों में हर्ष व्याप्त है।डॉ सौरभ पाण्डेय को बधाई देने वालों का तांता लगा हुआ है।
बताते चले को क्रोशिया देश की प्रसिद्ध सामाजिक संगठन बालक्नोफैंटास्टिक
के प्रमुख प्रोफेसर डॉ ईवान गसिन द्वारा दिया गया है।डॉ सौरभ पाण्डेय द्वारा दो दशक से मानवता के उत्थान ,शांति , सौहार्द,समरसता एवम सर्वधर्म समभाव हेतु कार्य किया जा रहा है।उनके द्वारा स्थापित धराधाम इंटरनेशनल दुनिया के काफी देशों में अपने कार्य के लिए प्रसिद्धि प्राप्त कर रहा है।
बिदित हो कि सौरभ जी , देश के सबसे अद्भुत आध्यात्मिक और मानवीयता के प्रतीक धराधाम संगठन के संस्थापक के रूप में बेहद चर्चित शख्सियत हैं। बता दें कि इस सौहार्दस्नेही दिव्यविभूति डॉ.सौरभ पाण्डेय जी ने वर्ष-2000 से दो निरक्षरों को साक्षर बनाने की शर्त पर अक्षर ज्ञान तथा सरकारी योजनाओं को जन-जन तक पहुँचाने के लिए बिना किसी आर्थिक सहयोग से सैकड़ों गाँवों में चौपाल लगाई और 2008 में 100 दिवसीय तटबंध यात्रा जिसमें 427 गावों में सर्वधर्म सम्भाव हेतु चौपाल व मंदिर,मस्जिद गुरुद्वारा गिरिजाघर आदि धर्म स्थलों पर जनजागरूकताहेतु जागरण कार्यक्रम किया। तथा इसके अतिरिक्त हजारों नौनिहालों को निशुल्क कंप्यूटर शिक्षा से जोड़ा तथा पर्यावरण के प्रति जागरूक करने हेतु स्वयं अपनी सुन्दर और सुशील धर्मपत्नी रागिनी जी के साथ पौधरोपण एवं हरयाली शादी करने का निरन्तर संदेश जन - जन तक पहुचाने के संदेश में अनवरत लगे हुए हैं। सच ही है कि
इस पवित्र, पाकीज़ा संगठन की एकता, विराटता और व्यापकता, विश्वसनीयता का अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि परम आदरणीय सौरभ जी व लाखों लोगों के प्रेम और आशीर्वाद से सिंचित यह संस्था आज विश्व के दर्जनो देशों में सामाजिक कार्यों हेतु प्रसिध्द है और निस्वार्थ सामाजिक विकास के कार्यक्रम संचालित कर पूरे विश्व में पीस एण्ड हैपीनेस, धार्मिक सौहार्द के नये कीर्तिमान गढ़ कर अपने महान अखंड भारत की विराट बसुधेव कुटम्बकम् वाली संस्कृति का वैश्विक स्तर पर परचम लहराने में सशक्त भूमिका निभा रही है । आज सौहार्द शिरोमणि डॉ.सौरभ पांडेय जी के समाज को एकसूत्र में बांधने के अभूतपूर्व, अद्भुत, अकल्पनीय कार्य कलाप, किसी तारीख और तारीफ़ और परिचय के मौहताज़ नही है। आज के इन नवयुगनिर्माता और बेमिशाल सच्ची शख्सियत का गोरखपुर जनपद के भस्मा में विद्वान महात्मास्वरूप श्री सोमनाथ पाण्डेय जी एवम विदुषि ममतामयी माता स्व.गीता देवी जी के पुत्र के रूप में हुआ था। इन्होंने अपनी पढ़ाई पूर्ण करने के बाद, पत्रकारिता जगत से फिल्मों की दुनिया में दस्तक देते हुए और उस लाईमलाईट की चकाचौंध से बाहर आकर वे सेवा के कार्यों से जुड़ते चले गये। एक दिन उन्होंने महसूस किया कि क्या भगवान ने हमें सिर्फ धनार्जन के लिये ही यह अनमोल जीवन दिया है? या फिर लोगों को उनके अधिकारों-लक्ष्यों, प्रेम, सौहार्द, मानवता के प्रति अलख जगाने के लिये उनका जन्म हुआ है? बस उनको जवाब मिल चुका था। अब वह लोगों के हृदयतल पर अपनी सुकूनभरी 'लोकजुड़ाव मंत्र' की दस्तक देने को निकल पड़े।
लम्बे संघर्षोंपरांत वर्तमान में बुलंद समाजसेवी छवि के साथ ही आज वह ग्लोबल सेलेब्रिटी के रूप में सम्मान प्राप्त हैं, हलांकि वह खुद को सेलेब्रिटी नहीं मानते। उनका विचार है कि ''मैं राजा बनना नही चाहता बल्कि उत्कृष्ट मानवताहृदयी सेवक बनाना चाहता हूँ।'' मैं सफल व्यक्ति नहीं बल्कि गरिमामय व्यक्ति बनने का प्रयास कर रहा हूँ ।''डॉ सौरभ पाण्डेय को देश विदेश से काफी सम्मान प्राप्त हो चुके है।
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