दरगाह आला हजरत/ताजुश्शरिया बरेली ।।
03-10-2021
मुफ्ती-ए-आज़म हिन्द और सरकार ताजुश्शरिया के कुल की रस्म अदा की गई। उर्स में ऑनलाइन के मध्यम से भी देश विदेश के जायरीन जुड़े ।।
आला हजरत इमाम अहमद रज़ा खां फाजिले बरेलवी का 103वां उर्स-ए-रज़वी की सभी रस्मे पूरी अकीदत के साथ दरगाह ताजुश्शरिया के सज्जादानशीन काज़ी-ए-हिंदुस्तान मुफ्ती मोहम्मद असजद रज़ा खां कादरी (असजद मियां) की सरपरस्ती व जमात रज़ा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष एवं उर्स प्रभारी सलमान मियां की सदारत और जमात रज़ा के राष्ट्रीय महासचिव फरमान मियां की निगरानी में दरगाह ताजुश्शरिया और मदरसा जामियातुर रज़ा में सरकार मुफ्ती-ए-आज़म हिन्द और सरकार ताजुश्शरिया के कुल की रस्म अदा की गई।
बलिया24न्यूज़ डेस्क
जो जायरीन किसी कारण उर्स पर नहीं आ पाए उन्होंने ऑनलाइन के मध्यम से जुड़कर उर्स में शिरकत की। जमात रज़ा के प्रवक्ता समरान खान ने बताया फजर की नमाज़ बाद दरगाह ताजुश्शरिया और मदरसा जामियातुर रज़ा में कुरानख्वानी और नात-ओ-मनकबत की महफिल सजाई गई।
असर की नमाज़ बाद हाफिज सरफराज़ रज़ा ने कुरान शरीफ़ की तिलावत की। नातख्वा नईम रज़ा तहसीनी और सैय्यद कैफ़ी अली ने सरकार ताजुश्शरिया की शान में ''क्या कहूं अख्तर रज़ा क्या आप हैं मुफ्ती-ए-आज़म का जलवा आप हैं" दुसरे कलाम में "अपने ही नहीं शैदा गैरों ने तुझे माना तू ताजुश्शरियत है आलम तेरा दीवाना" प्यारे प्यारे कलाम पेश किए।
उलमा-ए-इकराम ने सरकार ताजुश्शरिया की जिंदीगी पर रोशनी डालते हुए मुफ्ती अफजाल रज़वी और मुफ्ती अब्दुर्रहीम नश्तर फारुकी ने कहा सरकार ताजुश्शरिया को अल्लाह ने जहेरी हुस्न-ओ-जमल के साथ इल्मी कमाल भी अता फरमाया था। शाम को 07:14 मिंट पर सरकार ताजुश्शरिया मुफ्ती मोहम्मद अख्तर रज़ा खाँ (अज़हरी मियां) के कुल की रस्म अदा की गई। मुख्य कार्यक्रम का आगाज़ रात 9 बजे कारी शर्फोद्दीन ने तिलावत-ए-कुरान से किया। नातख्वा रफीक रज़ा कादरी मुंबई और साबिर रज़ा सूरत ने नात-ओ-मनकबत का नज़राना पेश किया।
इमाम अहमद रज़ा खाँ कॉन्फ्रेंस में आए देश-विदेश के दिखर उलमा-ए-इकराम व मुफ्ती-ए-इकराम ने आला हज़रत इमाम अहमद रज़ा खाँ और सरकार मुफ्ती-ए-आज़म हिन्द की जिंदगी पर रोशनी डालते हुए मुफ्ती शाहजाद आलम ने कहा कि आला हज़रत ने 14 सौ किताब लिखकर पूरे हिन्दुस्तान का सर फकर से उंचा कर दिया और पूरी दुनिया में आप को ऐसा लेखक ना मिलेगा और हमे फकर है की ऐसा इमाम मिला है।
वही अल्लामा सलमान रजा फरीदी, (मस्कट उम्मन), अल्लामा काज़ी मुश्ताक, अल्लामा सूफी अब्दुस समद, अल्लामा अब्दुल मुस्तफा रुदौली आदि ने बारी बारी से तकरीर के मध्यम से खिताब पेश किया। और कहा सरकार मुफ्ती-ए-आज़म हिंद क़ौम के मसीहा वा हमदर्द थे, उन की बरगाह में आमिर-ओ-गारीब सब बराबर थे।
रात को 01:40 मिंट पर सरकार मुफ्ती-ए-आज़म हिन्द (मुस्तफा रज़ा खां) के कुल शरीफ़ की रस्म अदा की गई। फातिहा मुफ्ती शकील ने शिज़रा कारी फैजू नबी ने पढ़ा। अंत में मुफ्ती असजद मियां ने मुल्क की खुशहारी और तरक्की व कोरोना जैसी मुजी बीमारी के खात्मे के लिए खुसूसी दुआ की। कार्यक्रम की निजामत मौलाना गुलजार ने की।
इस मौके पर हुस्साम मिया, हुम्माम मिया, मुफ्ती आशिक हुसैन, बुरान मिया, मंसूब मिया, कारी काज़िम, मौलाना शाहमत रज़ा, मौलाना अजीमुद्दीन अज़हरी व उर्स कोर कमेटी से डॉक्टर मेहंदी हसन, हाफिज इकराम रज़ा खाँ, शमीम अहमद, अब्दुल्लाह रज़ा खाँ, मोईन खाँ, समरान ख़ान आदि मौजूद रहें।
इनके जिम्मे में रहेगी उर्स की व्यवस्था
डॉक्टर मेंहदी हसन, शमीम अहमद, मोईन खान, हाफिज इकराम रज़ा खां, समरान खान, अब्दुल्लाह रज़ा खां, मौलाना निजामुद्दीन, मोईन अख्तर, बख्तियार खान, दानिश रज़ा, नदीम अहमद सुभानी, सैय्यद सैफ अली क़ादरी, नावेद आलम, गुलाम हुसैन, तसलीम रज़ा, इकरार (दन्नी), मोहम्मद फैजान रज़ा, अमिल खान, मोहम्मद अकिल खान, तसलीम खान, शबाब रज़ा, जुबैर कुरैशी, शाईबूद्दीन रजा, वसीम रज़ा, डॉक्टर ज़फ़र खान, हसमत अली, आमिर हबीबी, हाफिज अकबर, मौलाना बहारूल मुस्तफा, शाहरूख रजा अज़हरी, मशकूर अली, मोहम्मद फैसल हनफी, मुशाहिद रजा, अली असगर, नबीशेन, हाफिज जाहिद, मुहम्मद अहसान, सलमान रज़ा, मोहम्मद फाइक रजा, मोहम्मद फैजान रज़ा, आरिफ रज़ा, अमर हुसैन, अब्दुल सलाम, आदि
अंतिम दिन आज 04 अक्टूबर बरोज़ पीर का कार्यक्रम
दरगाह ताजुश्शरिया और मदरसा जामियातुर रज़ा में बाद नमाज-ए-फज्र कुरानख्वानी नात-ओ-मनकबत होगी। सुबह 11 बजे से मशहूर उलमा-ए-इकराम व मशाईख-ए-किराम की तकरीर होगी। दोपहर को 2:38 मिंट पर इमाम अहले सुन्नत सरकार आला हज़रत का कुल शरीफ मनाया जाएगा। इसी के साथ तीन रोज़ा उर्स का समापन हो जाएगा।
सुरक्षा व्यवस्था में तैनात लोगों के लिए खाना और चाय का किया इंतजाम।
जमात रज़ा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष एवं उर्स प्रभारी सलमान मियां की ओर से मदरसा जामियातुर रज़ा में जिला प्रशासन की तरफ़ से लगाई गई सुरक्षा व्यवस्था में तैनात लोकल पुलिस, आर•आर•आफ, पी•एस•सी या नगर निगम कर्मचारी, विद्युत विभाग कर्मचारी, आदि लोगो के लिए उर्स के तीनों दिन खाना, चाय, पानी की व्यवस्था की गई।
समरान ख़ान
मीडिया प्रभारी
जमात रज़ा-ए-मुस्तफा
दरगाह आला हजरत
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