सिकन्दरपुर(बलिया)24मार्च।थाना क्षेत्र के कठौड़ा गांव में शुक्रवार को देर शाम हुई आग लगी कि भीषण घटना में अनेक परिवारों की आधा दर्जन से ज्यादा झोपड़ियों सहित उनमें पड़े नकदी तथा घरेलू सामान जक कर नष्ट हो गए।साथ ही आग की चपेट में आ कर तीन दर्जन मुर्गियां ,बकरी व उन के बच्चे जल मरे।यदि गांव वाले ततपरता से आग पर काबू नहीं पाए होते तो वह अगल बगल में फैल कर तबाही को बढ़ा सकता था।
गांव के नारायण राजभर चिकन का कारोबार करते हैं।शुक्रवार को देर शाम अपनी झोपड़ी में परिवार की महिलाएं गैस चूल्हा पर खाना बना रही थीं।उसी दौरान करीब साढ़े सात बजे अचानक गैस के सिलिंडर में किसी तरह आग पकड़ लिया।आग पकड़ते ही महिलाएं घबरा गईं और तत्काल झोपड़ी से बाहर भाग कर शोर मचाने लगीं।इस दौरान सिलिंडर तेज आवाज के साथ अचानक फट गया।जिससे झोपड़ी में आग पकड़ लिया। उनकी शोर और सिलिंडर फटने से हुई धमाका की तेज आवाज सुनकर पड़ोसी उसे बुझाने जब तक मौका पर पहुंचे तब तक तेज हवा बहने के कारण आग उनकी दो अन्य झोपड़ियों के साथ ही बगल के रामजी राजभर,टुन्ना राजभर,मुन्ना राजभर,उदयचंद ,एवं सुभाष राजभर की झोपड़ियों तक फैल गया और सभी धू धू करके जलने लगीं।इस दौरान मौके पर इकट्ठा लोगों ने करीब एक घण्टा तक अथक प्रयास कर आग पर किसी तरह से काबू पाया।
तब तक नारायण की तीनों सहित रामजी की दो ,टुन्ना की एक,मुन्ना की एक,उदयचंद की एक व सुभाष की एक झोपड़ी तथा उनमें पड़े नकदी जेवर,अनाज ,बिस्तर,कपड़े और अन्य घरेलू सामान जल कर राख हो गए। साथ ही आग की चपेट में आ कर नारायण की तीन दर्जन मुर्गियां एवं बकरी के दो बच्चों,रामजी की दो बकरियां,मुन्ना की तीन बकरियों की मौत हो गई। इस आग लगी ने पीड़ित परिवारों का न केवल रोटी और कपड़ा बल्कि आसियान भी छीन लिया है।जिससे वे लोग खुले आसमान के नीचे अपना समय काटने को विवश हैं।
0 Comments